हिंदी न्यूज़लाइफस्टाइलहेल्थSitaram Yechury Death: सीताराम येचुरी का शरीर AIIMS को किया गया दान, परिवार ने बताया कारण
भारतीय राजनीति और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के प्रमुख नेता नेता सीताराम येचुरी का 12 सितंबर 2024 को 3 बजकर 5 मिनट पर निधन हो गया है.
By : मदीहा खान | Edited By: Swati Raj Laxmi | Updated at : 12 Sep 2024 06:27 PM (IST)
भारतीय राजनीति और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के प्रमुख नेता नेता सीताराम येचुरी का 12 सितंबर 2024 को 3 बजकर 5 मिनट पर निधन हो गया. वह 72 साल के थे. उन्हें 19 अगस्त 2024 को निमोनिया के कारण AIIMS में भर्ती कराया गया था. येचुरी लंबे समय से बीमार चल रहे थे. उनके परिवार ने उनके शरीर को AIIMS, नई दिल्ली को शिक्षा और अनुसंधान के उद्देश्यों के लिए दान कर दिया है. जिससे उनकी विरासत उनके राजनीतिक योगदान से परे हो जाएगी.
येचुरी अपनी बीमारी को लेकर पहले भी बात कर चुके हैं
येचुरी ने अपने जीवनकाल में अपने स्वास्थ्य संबंधी चुनौतियों के बारे में खुलकर बात की थी, जिसमें उन्हें टाइप 2 डाइबटीज़ और उच्च रक्तचाप का निदान किया गया था. इन चुनौतियों के बावजूद, उन्होंने अपने काम के प्रति अपनी प्रतिबद्धता बनाए रखी और भारतीय राजनीति में एक प्रभावशाली व्यक्ति बने रहे.
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सीताराम येचुरी का बचपन
सीताराम येचुरी का जन्म 1952 में हुआ था और उन्होंने अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत 1970 के दशक में की थी. उन्होंने मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी में विभिन्न पदों पर कार्य किया और 2015 में पार्टी के महासचिव बने. उन्होंने संसद में विभिन्न महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया, जिसमें राज्यसभा के सदस्य के रूप में कार्य करना शामिल है. उन्होंने विभिन्न सामाजिक और आर्थिक मुद्दों पर सक्रिय रूप से काम किया और एक प्रभावशाली नेता के रूप में जाने जाते रहे.
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शरीर दान एक निस्वार्थ दान है
शरीर दान एक निस्वार्थ कार्य है जो स्वास्थ्य सेवा और चिकित्सा प्रगति के भविष्य को लाभ पहुंचाता है. जबकि मेडिकल छात्र और पेशेवर दान किए गए शरीर का उपयोग मानव शरीर रचना का विस्तार से अध्ययन करने के लिए करते हैं, सर्जन और चिकित्सा व्यवसायी दान किए गए शरीर का उपयोग नई तकनीकों का अभ्यास करने, मौजूदा प्रक्रियाओं को परिष्कृत करने और सुरक्षित शल्य चिकित्सा पद्धतियों को विकसित करने के लिए करते हैं.
वैज्ञानिक और शोधकर्ता दान किए गए शरीर का उपयोग बीमारियों का पता लगाने, विभिन्न अंगों पर चिकित्सा स्थितियों के प्रभावों का अध्ययन करने और नए उपचार या दवाएं विकसित करने के लिए करते हैं.
लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने सीताराम येचुरी के निधन पर शोक व्यक्त किया और कहा कि वे देश की गहरी समझ रखने वाले भारत के विचार के रक्षक थे.
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Published at : 12 Sep 2024 06:27 PM (IST)
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